29+ Best New Nafrat Shayari in Hindi | अपनों से नफरत शायरी
Nafrat Shayari in Hindi – हेलो दोस्तों कब आपका प्यार आप से नाराज़ हो जाये ये किसी को नहीं पता अगर आपका प्यार छोटी छोटी बातो में नाराज़ हो जाये, इसका पता नहीं होता लड़किया किस बात से आप से नाराज़ हो जाये ये कोई नहीं जान सकता है आप के किस हरकत से वो आप से नफरत करने लगे ये किसी को नहीं पता होता है अगर से भी कोई नफरत करता है ये शायरी आपके लिए है
जरूरत है मुझे नये नफरत करने वालों की
पुराने तो अब मुझे चाहने लगे है
कत्ल तो लाजिम है इस बेवफा शहर में,
जिसे देखो दिल में नफरत लिये फिरता है !!
मैं फ़ना हो गया अफ़सोस वो बदला भी नहीं,
मेरी चाहतों से भी अच्छी रही नफरत उसकी।
Nafrat Shayari
कोई तो हाल-ए-दिल अपना भी समझेगा,
हर शख्स को नफरत हो जरूरी तो नहीं।
मुझे रुला कर सोना तो तेरी आदत बन गई है,
जिस दिन मेरी आँख ना खुली तुझे नींद से नफरत हो जायगी।
ए बादल इतना बरस की नफ़रतें धुल जायें,
इंसानियत तरस गयी है प्यार पाने के लिये।
Nafrat Shayari in Hindi
मैं काबिले नफरत हूँ तो छोड़ दे मुझको,
तू मुझसे यूँ दिखावे की मोहब्बत न किया कर
जरूर उन्हें भी हमसे मुहबबत हुई होगी,
वरना बेवजह कोई किसी से इतनी नफरत नहीं करता।
तेरी नफरत से भी हमने प्यार किया था
मगर तुमने हमे दर्द और जख्म दिया था..!
Nafrat Shayari Hindi
एक झूठ मैंने तुमसे कहा,मुझे नफरत है
तुमसे,एक झूठ तुम भी कह दो,तुम्हें
मोहब्बत है मुझसे
लोग नफ़रत की फ़ज़ाओं में भी जी लेते हैं,
अब हम मोहब्बत की हवा से भी डरा करते हैं।
नफरत करने वालो से भी प्यार करो तो कोई बात बने
अपने जिंदगी को कुछ यूं बनाओ तो कोई बात बने !
Nafrat Shayari For Single
तेरी बेवफाई में ना नफरत हुई,
और ना ही इश्क खत्म हुआ
मिटा देंगे हर नफरत को इस कदर हर रिश्ता निभाएंगे
अगर खड़ी रहेगी नफरत रास्ते में तो उसे भी प्यार से मनाएंगे !
नफरत कर लो पर इतनी गुंजाइश रखना
कल मेरे मरने पर कुछ आंसू निकल सके !
Nafrat Shayari For Girlfriend
देख कर उसको तेरा यूँ पलट जाना,नफरत
बता रही है तूने इश्क बेमिसाल किया था।
पहली नजर में जिसको हमसे मोहब्बत हो गई
अब यह आलम है हमे उनसे नफरत हो गई !
इससे बड़ा गुनाह क्या होगा,
कि तुम्हारी वजह से किसी को मोहब्बत से नफरत हो जाए।
तुम्हारी कमी को कोई नही कर सकता पूरी
तुम्हारे बिना तो मेरी जिंदगी भी है अधूरी
वो लोग अपने आप में कितने अज़ीम थे
जो अपने दुश्मनों से भी नफ़रत न कर सके !
ना मेरा प्यार कम हुआ न उनकी नफरत,
अपना अपना फर्ज था दोनों अदा कर गये !
नफरतों के लिए यहाँ वजह ढूंढी जाती है
बिना किसी वजह सिर्फ मोहब्बत होती है
मेरे दिल को यु कैद ना कर ए पगली
दिल के नवाब हेए तेरे पिंजरे के पंछी नही !
मोहब्बत करो तो हद से ज्यादा,
और नफरत करो तो उससे भी ज्यादा !
हमें बरबाद करना है तो हमसे प्यार करो
नफरत करोगे तो खुद बरबाद हो जाओगे
नफरत करोगे तो अधुरा किस्सा हूँ मैं
मोहब्बत करोगे तो तुम्हारा ही हिस्सा हूँ मे !
लेकर के मेरा नाम वो मुझे कोसता है,
नफरत ही सही पर वो मुझे सोचता तो है !
तुझे प्यार भी तेरी औकात से ज्यादा किया था,
अब बात नफरत की है तो नफरत ही सही
नफ़रत हो जायेगी तुझे अपने ही
किरदार से अगर मै तेरे ही अंदाज मे तुझसे बात करुं
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